रायपुर;
झारखंड के विधायक रायपुर क्या आए, छत्तीसगढ़ में सियासी पारा गर्म हो गया है। पड़ोसी राज्य के विधायकों की सेवा सत्कार के लिए सरकार की ओर से की गई व्यवस्थाओं के बीच शराब का मुद्दा तूल पकड़ गया है। पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह ने ट्वीट करके भूपेश सरकार पर छत्तीसगढ़ महतारी के अपमान का आरोप मढ़ दिया है। बारातियों का स्वागत पान पराग से किये जाने की बात पुरानी हुई, अब तो अतिथियों का स्वागत शराब से किया जाता है.यकीन न हो तो छत्तीसगढ़ में सोमवार की शाम से वायरल हो रहे इस वीडियो को देख लीजिये और इसमें कही गई बातों को ठीक से सुन भी लीजिये।
आबकारी विभाग की सरकारी गाड़ी में शराब की पेटियां भरकर नवा रायपुर के मेफेयर रिसॉर्ट पहुंचाए जाने की ये तस्वीरें ठीक उस वक्त के बाद की हैं, जब झारखंड के विधायकों को मेफेयर रिसॉर्ट पहुंचाया गया था। शराबबंदी का वादा करते-करते अतिथियों का स्वागत शराब से करने के हालात में पहुंची कांग्रेस सरकार की कार्यशैली को पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह ने भी ट्वीट करके कोसा है। पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह ने अपने ट्वीट में लिखा कि “भूपेश जी कान खोलकर सुन लीजिये, छत्तीसगढ़ अय्याशी का अड्डा नहीं हैं, जो छत्तीसगढियों के पैसे से झारखंड के विधायकों को दारू-मुर्गा खिला रहे हैं, असम, हरियाणा के बाद झारखंड के विधायकों का डेरा, इन अनैतिक कार्यों के लिए छत्तीसगढ़ महतारी आपको कभी माफ नहीं करेगी।
झारखंड का सियासी झंझट, रांची टू रायपुर पहुंचने के बाद छत्तीसगढ में सियासी पारा हाई है…रमन सिंह के ट्वीट पर मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने पलटवार कर, याद दिलाया है कि जब भारतीय जनता पार्टी अपने अलग-अलग राज्यों के विधायकों को कर्नाटक से हरियाणा तक पहुंचा रही थी, तब ड़ॉ. रमन सिंह की याददाश्त कहां चली गई थी।झारखंड के विधायक मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन का इशारा मिलते ही वापस रांची लौट जाएंगे, लेकिन शराब पर शुरु हुई सियासत, धान के कटोरे में विधानसभा चुनाव तक रह-रह कर उबाल मारती रहेगी।