मलेरिया से बालक आश्रम के एक और बच्चे की आज सुबह जिला चिकित्सालय बीजापुर में मौत हो गई है। 10 दिनों में सरकारी आश्रम में यह मलेरिया से दूसरी मौत है।
बीजापुर जिले में मलेरिया पीड़ितों की संख्या में दिनों दिन इजाफा हो रहा है। मलेरिया पीड़ितों में आश्रमों के ज्यादातर बच्चे है। नेलसनार के बाद अब बासागुड़ा क्षेत्र में मलेरिया पीड़ितों की संख्या में बढ़ोतरी हुई है। सभी छात्रों को स्वास्थ्य केंद्र में भर्ती किया गया है।
बासागुड़ा आसपास के आश्रम छात्रावास के 22 बच्चों को मलेरिया हुआ है, इसके अलावा 8 ग्रामीण महिलाएं व बच्चे भी शामिल है। सभी छात्रों व ग्रामीणों व दुधमुंहे बच्चों का स्वास्थ केन्द्र बासागुड़ा में भर्ती कर इलाज किया जा रहा है। बासागुड़ा के चिकित्सक तरूण गोटे ने बताया कि सारकेगुडा़ बालक आश्रम का छात्र मोडियम देवा का एक तारीख से इलाज जारी था ठीक होने पर आश्रम चला गया।
अधीक्षक तोकल का कहना है कि मेरे द्वारा स्वास्थ्य केंद्र में इलाज कराया गया है ठीक होने पर छात्र के भाई ने जबरन आश्रम से अपने गांव डल्ला ले गया। मना करने पर भी वह नहीं माना। घर में जाने के बाद छात्र की तबीयत बिगड़ने से फिर अस्पताल लाया गया। बासागुड़ा में स्थिति गंभीर होने पर बीजापुर जिला चिकित्सालय रिफर किया गया।
बासागुड़ा के डां तरूण गोटे ने बताया कि जब छात्र को गांव से दोपहर मे अस्पताल लाया गया था उस समय छात्र की स्थिति ठीक नहीं थी शुगर लेवल कम था।और कमजोर हो गया था। डां तरूण गोटे के अनुसार अभी आश्रम छात्रावास के लगभग 21-22 बच्चे तथा 8 ग्रामीण, महिला तथा दुधमुंहे बच्चे मलेरिया से पीड़ित हैं। इनका इलाज किया जा रहा है